हिंदू संस्कृति में ज्योतिष विज्ञान का बहुत बड़ा महत्व है हम जब भी कोई शुभ कार्य करने जाते हैं तो उसका मुहूर्त निकलवाते हैं और जीवन में जब उतार-चढ़ाव आते हैं तो उसका भी असर हमारी कुंडली के अनुसार हमारे जीवन पर होता है लेकिन सबसे मुख्य बात यह है कि अगर हम कुंडली में ग्रहों की स्थिति और उनके द्वारा दिए जाने वाले परिणाम को समझ जाएं तो विपरीत दशा में भी हम हमारी परिस्थितियों को सकारात्मक कर सकते हैं
कुंडली में लग्न कुंडली का बहुत अधिक महत्व होता है क्योंकि लग्न कुंडली हमें हमारे जीवन की मुख्य बातें बताती है और हमारी दशाएं हमें जीवन में मिलने वाले परिणाम के बारे में बताती है और वह परिणाम सकारात्मक भी हो सकता है और नकारात्मक भी
लेकिन हम कुंडली के आधार पर नकारात्मक परिस्थिति को भी सकारात्मक कर सकते हैं उसके लिए हमें कुछ उपाय करने होते हैं विधि विधान के साथ में और कभी-कभी ऐसा भी देखा गया है की कुंडली में हमें सकारात्मक ग्रह भी अच्छे परिणाम नहीं दे पाते हैं क्योंकि वह कुंडली में या तो मृत अवस्था में होते हैं या फिल्म वह कमजोर स्थिति में होते हैं ऐसे में हम रत्न और रुद्राक्ष के माध्यम से ग्रहों की पावर को बढ़ाकर सकारात्मक परिणाम प्राप्त कर सकते हैं